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व्यवस्थाविवरण 28ः13 और यहोवा तुझको पूंछ नही, किन्तु सिर ही ठहराएगा, और तू नीचे नहीं, परन्तु ऊपर ही रहेगा, यदि परमेष्वर यहोवा की आज्ञाएं जो मैं आज तुझको सुनाता हूं तू उनके मानने में मन लगाकर चैकसी करे।

गलातियों 3ः13 मसीह ने जो हमारे लिये श्रापित बना, हमें मोल लेकर व्यवस्था के श्राप से छुड़ाया क्योंकि लिखा है, जो कोई काठ पर लटकाया जाता है वह श्रापित है।

‘‘सागर से भी गहरा, पर्वतों से भी ऊंचा
तारों से भी ज्यादा, प्यार है तेरा’’

इब्रानियों 7ः26 सो ऐसा ही महायाजक हमारे योग्य था, जो पवित्र और निश्कपट और निर्मल, और पापियों से अलग, और स्वर्ग भी ऊंचा किया हो।

यूहन्ना 8ः32 और सत्य को जानोगे, और सत्य तुम्हें स्वतंत्र करेगा।
यूहन्ना 14ः26 परन्तु सहायक अर्थात पवित्रआत्मा जिसे पिता मेरे नाम से भेजेगा, वह तुम्हें सब बातें सिखाएगा, और जो कुछ मैंने तुम से कहा है, वह सब तुम्हें स्मरण कराएगा।
भजन संहिता 84ः10 क्योंकि तेरे आंगनों में का एक दिन कही के हजार दिन से उत्तम है। दुश्टों के डेरों में वास करने से अपने परमेष्वर की डेवढ़ी पर खड़ा रहना ही मुझे अधिक भावता है।

प्रकाशिवाक्य 4ः8 और चारों प्राणियों के छः छः पंख हैं, और चारो ओर, और भीतर आंखे ही आंखे हैं, और वे दिन रात बिना विश्राम लिए यह कहते रहते हैं, कि पवित्र पवित्र, पवित्र प्रभु परमेष्वर सर्वषक्तिमान, जो था, और जो है, और जो आने वाला है।
1राजा 8ः23 हे इस्राएल के परमेष्वर तेरे समान न तो ऊपर स्वर्ग में, और न नीचे पृथ्वी पर कोई ईष्वर है तेरे जो दास अपने सम्पूर्ण मन से अपने को तेरे सम्मुख जानकर चलते हैं, उनके लिये तू अपनी वाचा पूरी करता है और करूणा करता रहता है।
नीतिवचन 9ः10 यहोवा का भय मानना बुद्धि का आरम्भ है, और परमपवित्र ईष्वर का जानना ही समझ है।
प्रेरितों के काम 7ः9-10 और कुलपतियों ने यूसुफ से डाह करके उसे मिसर देष जाने वालों के हाथ बेचा, परन्तु परमेष्वर उसके साथ था। और उसे उसके सब क्लेषों से छुड़कर मिसर के राजा फिरौन के आगे अनुगृह और बुद्धि दी, और उसने उसे मिसर पर और अपने सारे घर पर हाकिम ठहराया।

यूसुफ के भाइयों ने उसे मारा पीटा एवं गडहे में डाल दिया और उसके बाद उसको मिस्र के व्यापारियों के हाथ गुलाम की नाईं बेच दिया।

उत्पत्ति 39ः2-6 और युसूफ अपने मिस्री स्वामी के घर में रहता था, और यहोवा उसके संग था वो वह भाग्यवान पुरूश हो गया। और यूसुफ के स्वामी ने देखा, कि यहोवा उसके संग रहता है, और जो काम वह करता है उसको यहोवा उसके हाथ से सफल कर देता है। तब उसकी अनुगृह की दृश्टि उस पर हुई, और वह उसकी सेवा टहल करने के लिए निुयक्त किया गया। फिर उसने अपने घर का अधिकारी बनाके अपना सब कुछ उसके हाथ में सौंप दिया। और जब से उसने उसको अपने घर का और अपनी सारी सम्पत्ति का अधिकारी बनाया, तब से यहोवा युसूफ के कारण उस मिस्री के घर पर आषीश देने लगा। क्या घर में क्या मैदान में, उसका जो कुछ था, सब पर यहोवा की आषीश होने लगी। सो उसने अपना सब कुछ यूसुफ के हाथ में यहां तक छोड़ दिया अपने खाने की रोटी को छोड़, वह अपनी सम्पत्ति का हाल कुछ न जानता था।

उत्पत्ति 39ः7 से आगे हम पढ़ते हैं कि पोतीपर की पत्नी लैंगिक झूठा अपराध में युसूफ को जेल में जाना पड़ा लेकिन वहां उसने राजा के कर्मचारियों स्वप्नों का अनुवाद बताया। और जेलखाने में भी हम उसके बारे में पढ़ते हैं
उत्पत्ति 39ः22-24 सो बन्दीगृह के दरोगा ने उन सब बधुओं को जो कारागार में थे यूसुफ के हाथ में सौंप दिया और जो काम वे वहां करते थे, वहीं उसी की आज्ञा से होता था। बन्दीगृह के दरोगा के वष में जो कुछ था क्योंकि उसमें उसको कोई भी वस्तु देखनी न पड़ती थी इसलिये कि यहोवा यूसुफ के साथ था और जो कुछ वह करता था उसमें सफलता देता था।
इसके बाद परमेष्वर ने उसको कैदखाने से निकाला और उसने फिरौन के दो स्वप्नों का अर्थ बताया और उस सात साल के आकाल के लिए योजना भी बताई इससे फिरौन बहुत प्रभातिव हुआ और उसने उसको मिस्र देष का प्रधानमंत्री बनाया।

उत्पत्ति 41ः41-44 फिर फिरौन ने यूसुफ से कहा, सुन मैं तुझको मिस्र के सारे देष के ऊपर अधिकारी ठहरा देता हूं तब फिरौन ने अपने हाथ से अंगूठी निकाल के यूसुफ के हाथ में पहिना दी, और उसको बढि़या मलमल के वस्त्र पहिनवा दिए, और उसके गले में सोने की जंजीर डाल दी, और उसको अपने दूसरे रथ पर चढ़वाया, और लोग उसके आगे आगे यह प्रचार करते चले, कि घुटने टेककर दण्डवत करो और उसने उसको मिस्र के सारे देष के ऊपर प्रधनमंत्री ठहराया।

यषायाह 54ः17 जितने हथियार तेरी हानि के लिए बनाए जाएं, उनमें से कोई सफल न होगा, और जितने लोग मुद्दई होकर तुझ पर नालिस करें उन सभों से तू जीत जाएगा। यहोवा के दासों का यही भाग होगा, और वे मेरे ही कारण धर्मी ठहरेंगे, यहोवा की यही वाणी है।

भजन संहिता 119ः12 ‘‘परमेश्वर तू अपनी विधियां सिखा।’’

भजन संहिता 119ः19 अपनी आज्ञाओं को मुझसे छिपाए न रख।


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